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Agniveer Scheme: मोदी सरकार 2.0 के दौरान देश में सेना को लेकर एक नई स्कीम लाई गई थी. इस योजना को नाम दिया गया अग्निवीर. इस योजना के तहत सेना में शामिल होने वाले जवानों को ‘अग्निवीर’ कहा गया. हालांकि, इस स्कीम को लेकर दिल्ली से महाराष्ट्र और यूपी से बिहार तक युवाओं ने विरोध जताया. क्योंकि, अग्निपथ योजना के तहत भर्ती होने वाले युवाओं का सेवाकाल 4 साल तक ही था.
हालांकि, अग्निवीर को लेकर साल 2022 में उठे सवालों की गूंज 2024 के चुनावों में भी दिखाई दी. कांग्रेस ने अग्निवीर योजना को खत्म करने की बात कही, जब 4 जून को नतीजे आए तो हर कोई हैरान रह गया. बीजेपी पूर्ण बहुमत के आंकड़े को भी पार नहीं कर पाई, लेकिन NDA गठबंधन 290 से अधिक सीट हासिल करने में कामयाब रहा.
सवालों के घेरे में अग्निवीर योजना
इस बीच मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल की शुरुआत से पहले सेना में भर्ती की अग्निवीर योजना को लेकर एक बार फिर राजनीतिक बहस शुरू हो गई है. जेडीयू ने अग्निवीर योजना की समीक्षा का मुद्दा उठाया है. पार्टी ने हवाला दिया है कि जहां अग्निवीर की ज्यादा भर्तियां हुई. वहां एनडीए को नुकसान हुआ है. ये समझने के लिए आपको उन 6 राज्यों के बारे में जानना चाहिए. जहां से सेना के तीनों अंगों में सबसे ज्यादा युवाओं की भर्ती होती है और वहीं एनडीओ को नुकसान उठाना पड़ा है.
जहां होती है सबसे ज्यादा भर्ती, वहीं मिली हार
- उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव में NDA को गठबंधन को बड़ी हार मिली है. यहां सपा के खाते में 37 तो काग्रेस के खाते में 6 सीटें आई, जबकि 2014 और 2019 में शानदार प्रदर्शन करने वाली बीजेपी 33 सीटों पर ही जीत दर्ज कर पाई.
- बिहार के लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने 2019 चुनाव में 17 सीटें जीती थी, लेकिन इस बार बीजेपी 12 सीटों पर ही जीत दर्ज कर पाई.
- राजस्थान के लोकसभा चुनाव के नतीजों ने भी चौंकाया. 2019 में 24 सीटें जीतने वाली बीजेपी इस बार 14 सीटों तक पहुंच पाई.
- महाराष्ट्र से भी बीजेपी के लिए अच्छी खबर नहीं आई. पिछली बार बीजेपी ने 23 सीटों पर जीत हासिल की थी, लेकिन इस बार 9 सीटों पर ही संतोष करना पड़ा है.
- 2019 के लोकसभा चुनाव में पंजाब की तीन सीटों पर बीजेपी का खाता खुला था, लेकिन इस बार पंजाब में बीजेपी का खाता तक नहीं खुल पाया.
- हरियाणा में भी कुछ ही ऐसी ही स्थिति देखने को मिली. साल 2019 के चुनाव में बीजेपी ने राज्य की सभी 10 सीटों पर जीत दर्ज की थी, लेकिन इस बार सिर्फ पांच सीटों पर ही पार्टी जीत हासिल कर पाई.
- देश के यही वो टॉप 6 राज्य हैं. जहां से सबसे ज्यादा युवा फौज में भर्ती होते हैं. लोकसभा चुनाव में इन सभी 6 राज्यों में बीजेपी का परफॉरमेंस कैसा रहा. इस पर एक नजर डालें.
BJP को ‘अग्निवीर’ का नुकसान?
राज्य | 2019 लोकसभा चुनाव | 2024 लोकसभा चुनाव | सीटों का नुकसान |
यूपी | 62 | 33 | 29 |
बिहार | 17 | 12 | 5 |
राजस्थान | 24 | 14 | 10 |
महाराष्ट्र | 23 | 9 | 14 |
पंजाब | 3 | 0 | 3 |
हरियाणा | 10 | 5 | 5 |
हिमाचल और उत्तराखंड ने वोट शेयर में दिया झटका
वहीं, हिमाचल से भी फौज में जाने वाले युवाओं की संख्या अच्छी खासी है. हालांकि, बीजेपी ने यहां चारों सीट जीत ली. लेकिन वोट शेयर 69.70% से घटकर 56.44% हो गया. यही हाल उत्तराखंड का रहा. जहां बीजेपी ने सभी पांच सीट भले जीत ली हो. लेकिन 2019 के मुकाबले वोट शेयर 61.66% से घटकर 56.81% रह गया है.
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